बिहार कोकिला शारदा सिन्हा का देहावसान

बिहार कोकिला शारदा सिन्हा का देहावसान

 पटना, हिन्दुस्तान टीम। बिहार

कोकिला के नाम से मशहूर लोक

गायिका पद्म भूषण शारदा सिन्हा



मंगलवार की रात 9.20 बजे दिल्ली एम्स में निधन हो गया। उनके बेटे अंशुमान सिन्हा ने सोशल मीडिया पर जानकारी दी। 72 वर्षीय लोक गायिका शारदा सिन्हा को पिछले 3 अक्टूबर को एम्स के कैंसर संस्थान की गहन देखभाल इकाई में भर्ती कराया गया था। एम्स के एक अधिकारी ने बताया कि शारदा सिन्हा का सेप्टीसीमिया के कारण 'रिफ्रैक्टरी शॉक' के चलते निधन हो गया। वह पिछले सात वर्षों से मल्टीपल मायलोमा से पीड़ित थीं। सोमवार (4 नवंबर) को उनका ऑक्सीजन स्तर गिरने के बाद उन्हें वेंटिलेटर पर ले जाया गया था। चिकित्सक लगातार उनकी निगरानी में जुटे थे, लेकिन उन्हें नहीं बचाया जा सका। छठी मईया को अपने गीतों के माध्यम से घर-घर तक पहुंचाने वालीं लोक गायिका का छठ पर्व के दौरान ही निधन ने लोगों को झकझोर दिया है। राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मु, प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी, मुख्यमंत्री नीतीश कुमार, कांग्रेस अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खरगे समेत सभी प्रमुख राजनेताओं, कला-संस्कृति जगत की हस्तियों समेत समाज के सभी वर्गों के लोगों ने उनके निधन पर शोक जताया है। पीएम ने दिन में अंशुमान से उनके स्वास्थ्य की जानकारी ली थी। शारदा सिन्हा का जन्म 1952 में सुपौल के राघोपुर प्रखंड के हुलास गांव में हुआ था। उनके पति डॉ ब्रजकिशोर सिन्हा का इसी साल 22 सितंबर को निधन हुआ था। पिछले पांच दशकों से बिहार की लोकगायन परम्परा की


सशक्त हस्ताक्षर रहीं शारदा सिन्हा के गाये छठ और विवाह गीत घर-घर में लोकप्रिय हैं। उन्होंने भोजपुरी, मैथिली और मगही लोक संगीत को विश्व में पहचान दिलाई। वह 2017 में एलएनएमयू से बतौर संगीत शिक्षका सेवानिवृत्त हुई थीं।

शारदा सिन्हा का निधन अपूरणीय क्षति : नीतीश


सीएम नीतीश कुमार ने शारदा सिन्हा के निधन पर गहरी शोक संवेदना व्यक्त की है। मुख्यमंत्री ने कहा है कि उन्होंने मैथिली, बज्जिका, भोजपुरी के अलावा हिन्दी गीत भी गाये थे। उन्होंने कई हिन्दी फिल्मों में भी अपनी मधुर आवाज दी थी। उनके निधन से संगीत के क्षेत्र में अपूरणीय क्षति हुई है। शारदा सिन्हा की आत्मा की चिर शांति तथा उनके परिजनों, प्रशंसकों एवं अनुयायियों को दुख की इस घड़ी में धैर्य धारण करने की शक्ति प्रदान करने की ईश्वर से प्रार्थना करता हूं।



सफरनामा

जन्म: 01 अक्टूबर, 1952


जन्म स्थान: हुलास, राघोपुर (सुपौल) ससुराल: बेगुसराय का सिहमा गांव पति: स्वर्गीय डॉ. ब्रज किशोर सिन्हा बच्चे: बेटी वंदना और बेटा अंशुमान सिन्हा सम्मान: पद्म श्री (1991), पद्म भूषण (2018), संगीत नाटक अकादमी पुरस्कार (2000)

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